रोजाना मुनाफे का लालच देकर 24 लाख की ठगी, सेमिनार के बहाने लोगों को फंसाया गया; मकान छोड़कर भागे जालसाज
Cyber Fraud: बिलासपुर में होटल सेंट्रल पाइंट में सेमिनार आयोजित कर लोगों से डिजिटल करंसी में निवेश के नाम पर 24 लाख रुपये की ठगी की गई है। जालसाजों ने प्रतिदिन एक प्रतिशत मुनाफे का लालच दिया। कुछ दिन मुनाफा देने के बाद, जालसाजों ने साइट हैक होने का बहाना बनाया और फिर अपना घर छोड़कर फरार हो गए। पीड़ितों की शिकायत पर पुलिस ने जुर्म दर्ज कर लिया है।
Publish Date: Mon, 29 Sep 2025 08:54:13 AM (IST)
Updated Date: Mon, 29 Sep 2025 09:02:47 AM (IST)
Fraud: रोज एक प्रतिशत मुनाफे का लालच देकर 24 लाख की ठगी (प्रतीकात्मक फोटो)HighLights
- प्रतिदिन 1% मुनाफे का लालच देकर 24 लाख की ठगी।
- होटल में सेमिनार कर लोगों से करवाया गया था निवेश।
- साइट हैक होने का बहाना बनाकर जालसाज हुए फरार।
नईदुनिया प्रतिनिधि, बिलासपुर: होटल सेंट्रल पाइंट में सेमिनार के बहाने बुलाकर लोगों से 24 लाख रुपये निवेश कराए गए। इसके बाद साइट हैक होने का झांसा देकर जालसाज भाग निकले। जब धोखाधड़ी की जानकारी हुई तब पीड़ितों ने थाने पहुंचकर घटना की शिकायत की है। पीड़ितों की शिकायत पर पुलिस ने जुर्म दर्ज कर मामले को जांच में लिया है।
ऐसे बुना ठगी का जाल
शहर में रहने वाले मनीराम पटेल ने धोखाधड़ी की शिकायत की है। उन्होंने बताया कि कंपनी में निवेश करने पर प्रतिदिन एक प्रतिशत मुनाफे का विज्ञापन यूट्यूब और अन्य साइट पर आता था। जब उन्होंने कंपनी के बताए नंबर पर संपर्क किया तो जूम मीटिंग में जोड़कर आनलाइन मुनाफा समझाया गया। साथ ही प्रतिदिन एक प्रतिशत मुनाफा होने की बात कही गई।
इसके कुछ दिन बाद ही 24 जून को कंपनी के सादाब अंसारी, जफर इमाम, गंगाधर कुमार, दिलेश्वर मुंडा, आकाश कुमार और शुभम सिंह शहर आए। उन्होंने होटल सेंट्रल पाइंट में सेमिनार किया। इसमें मनीराम के साथ ही उनके साथी नेहल मिश्रा, रवि साहू, अक्षय कुमार टेकाम और राम स्वरूप साहू भी शामिल हुए। सादाब और उसके साथियों ने बताया कि उनकी कंपनी डिजिटल करंसी पर निवेश करती है। इसमें मोटा मुनाफा होता है। कंपनी अपना कमिशन काटकर निवेशकों को प्रतिदिन एक प्रतिशत का मुनाफा देती है। उनकी बातों में आकर मनीराम और उसके साथियों ने करीब 24 लाख रुपये निवेश कर दिए।
जालसाजों ने साफ्टवेयर हैक हो जाने का दिया बहाना
कुछ दिनों तक उन्हें रोज एक प्रतिशत मुनाफा होता रहा। बाद में उन्हें रुपये मिलने बंद हो गए। जब उन्होंने कंपनी के लोगों से पूछताछ की तो गोलमोल जवाब मिलता रहा। इसके कुछ दिन बाद कंपनी के साफ्टवेयर हैक हो जाने के कारण सारे रूपये डूब जाने की बात कही गई। इधर कंपनी का प्रचार करने वाले अपना घर छोड़कर भाग निकले। जब निवेशकों को इसका पता चला तो तारबाहर थाने में घटना की शिकायत की है। इस पर पुलिस ने जुर्म दर्ज कर मामले को जांच में लिया है।
सेमिनार के बहाने फंसाए जा रहे लोग
शहर के अलग-अलग होटलों में चिटफंड कंपनी के लोग आए दिन सेमिनार करते हैं। इसके सहारे लोगों को मोटा मुनाफा बताकर फंसाया जाता है। बाद में कंपनी के लोग रुपये समेटकर भाग जाते हैं। इधर पुलिस की ओर से सेमिनार के दौरान पूछताछ की जाती है। तब निवेशक ही कंपनी के लोगों को बचाने के लिए आगे आते हैं। उनकी ओर से शिकायत नहीं मिलने पर पुलिस भी कार्रवाई नहीं कर पाती।
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