Narendra Singh Tomar: विधानसभा अध्यक्ष चुने जाने के बाद बोले नरेंद्र सिंह तोमर, जनहित के मुद्दों पर सार्थक बहस की प्राथमिकता
MP Assembly Speaker मध्य प्रदेश का विधानसभा अध्यक्ष चुने जाने के बाद नरेंद्र सिंह तोमर ने नईदुनिया से विशेष बातचीत में कहा कि मेरा प्रयास रहेगा कि सदन का संचालन सबके सहयोग से अच्छे से कर सकूं। जनहित के मुद्दों पर विमर्श हो।
By Neeraj Pandey
Edited By: Neeraj Pandey
Publish Date: Wed, 20 Dec 2023 07:10:52 PM (IST)
Updated Date: Thu, 21 Dec 2023 07:24:56 AM (IST)
Narendra Singh TomarHighLights
- मध्य प्रदेश का विधानसभा अध्यक्ष चुने जाने के बाद बोले नरेंद्र सिंह तोमर
- तोमर ने कहा प्रयास रहेगा कि सदन का संचालन सबके सहयोग से अच्छे से कर सकूं
- जनहित के मुद्दों पर सार्थक बहस हो, यह प्राथमिकता रहेगी
भोपाल (राज्य ब्यूरो)। विधानसभा लोकतंत्र का मंदिर है। हम सब इसी आशा के साथ यहां आते हैं कि जनहित की बातों को उठाकर उनका समाधान निकालने का प्रयास करें। इस मंच का सकारात्मक उपयोग हो, जनहित के मुद्दों पर सार्थक बहस हो, यह मेरी प्राथमिकता रहेगी। यह बात बुधवार को सर्वसम्मति से विधानसभा अध्यक्ष चुने जाने के बाद नरेंद्र सिंह तोमर ने नईदुनिया से विशेष बातचीत में कही।
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विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर से बातचीत के प्रमुख अंश
- प्रश्न: इस नई जिम्मेदारी को आप किस रूप में देखते हैं।
- उत्तर- यह बड़ी और महत्वपूर्ण जिम्मेदारी है। मेरा प्रयास रहेगा कि सदन का संचालन सबके सहयोग से अच्छे से कर सकूं। जनहित के मुद्दों पर विमर्श हो।
- प्रश्न: बड़ी संख्या में नए सदस्य भी सदन में चुनकर आए हैं, उनके लिए क्या संदेश देना चाहेंगे।
- उत्तर- हम अपने भीतर हमेशा विद्यार्थी भाव को जिंदा रखें। व्यक्ति कितना भी पढ़े, कितना भी अनुभव करे, फिर भी सीखने के लिए शेष रहता ही है और जितना व्यक्ति सीखता है, उतना ही समाज में बांटता है। इसका लाभ समाज, दल और उसके क्षेत्र को भी होता है।
प्रश्न: प्रतिपक्ष के सदस्यों ने आपसे यह अपेक्षा की है कि उन्हें अधिक समय दें।
उत्तर: सदन में प्रश्न, ध्यानाकर्षण सहित अन्य सबकी एक प्रक्रिया है। इनमें हम जितने अध्ययन के साथ अपनी तैयारी रखेंगे, सरकार को उतने ही अध्ययन के साथ जवाब देने के लिए विवश होना पड़ेगा। सरकार से जवाब सार्थक आएं, हम समस्या की जड़ तक जाएं, यह बहुत जरूरी है।
प्रश्न: सदन की बैठकें कम होती जा रही हैं। सत्ता पक्ष और विपक्ष, दोनों ने यह बात उठाई है, इसे किस रूप में देखते हैं।
उत्तर: सदन सार्थक चर्चाओं के लिए है। हम सभी की जिम्मेदारी है कि जो भी विषय इसके सामने लाए जाएं, प्रदेश हित में उनके गुण-दोष पर चर्चा हो। निश्चित तौर पर सदन की बैठकें नियत अवधि तक चलनी चाहिए और इसका दायित्व सबका होता है।