-आइसीआरटी की टीम ने बताए अपने अनुभव
ग्वालियर (नईदुनिया प्रतिनिधि)। हमने ग्वालियर की एतिहासिक इमारत व पर्यटन स्थलों का भ्रमण किया है। जब हमने शाम के समय महाराज बाड़े को देखा तो यह एसिया महाद्वीप का दूसरा सबसे सुंदर स्क्वायर है। यहां मौजूद इमारतों की सुंदरता काफी अच्छी है। पहला स्क्वायर चाइना में है। यह बात इंटरनेशनल सेंटर फार रिस्पान्सिबल टूरिज्म (आइसीआरटी) के संस्थापक निदेशक डा हेराल्ड गुडविन ने कही। आइआइटीटीएम में डा गुडविन अपनी टीम के साथ पत्रकारों के सवालों का जवाब दे रहे थे।
डा गुडविन ने कहा कि पर्यटन के लिए मध्य प्रदेश का खजुराहो पर्यटन के लिए सबसे ज्यादा प्रसिद्ध है, लेकिन ग्वालियर में बेहतर एतिहासिक इमारत व पर्यटन स्थल हैं। पर्टयन में क्यों पीछे हैं, इसका कोई कारण नहीं दिखा है। ग्वालियर को आगे लाने की जरूत है। यहां पर बहुत कुछ देखने के लिए है। मितावली पड़ावली भी देखे। ये पर्यटन स्थल भी काफी सुंदर हैं। ग्लिन ओलेरी ने बताया कि साउथ अफ्रीका के लाइल्ड लाइव देखने आते है, उन पर्यटकों से वहां के लोगों का व्यवहार काफी अच्छा रहता है। वहां के लोग पर्यटकों से बात करते हैं। अपनी संस्कृति के बार में बता हैं। वहां के स्थानीय खाना मिला है। अफ्रीका जैसा कल्चर ग्वालियर में देखने को मिला। स्थानीय खाना खाने को मिला। पर्यटन का मतलब है कि स्थानीय लोगों को ज्यादा फायदे से है। वहां के लोगों को फायदा होना चाहिए। इस टीम में यूके, दक्षिण अफ्रीका, फ्रांस सहित अन्य देश के लोग आए थे। जो पर्टयन के क्षेत्र में कार्य कर रहे हैं।
सुरक्षा के लिए स्थानीय लोगों की भागीदारी जरूरी
मध्य प्रदेश टूरिज्म बोर्ड के निदेशक मनोज सिंह ने मितावली व पड़ावली सुरक्षा को लेकर कहा कि इसमें स्थानीय लोगों की भागीदारी होना चाहिए। यहां के लोग सुरक्षा व सफाई की दिशा में कार्य करेंगे। पर्यटन भी बढ़ेगा। इसमें बोर्ड भी सहयोग करेगा।
- अाइअाइटीटीएम के डायरेक्टर अालोक शर्मा ने पर्यटन के संबंध में जानकारी दी। इसके अलावा टीम के सदस्यों ने अाइअाइटीटीएम विद्यार्थियों से भी बात की। संगोष्ठी के दौरान अपने अनुभव बताए।
- यह टीम एक व दो सितंबर को ओरछा का भ्रमण करेगी। यहां राधापुर व लाडपुराखास का भ्रमण करेंगे।