
नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर। शहर में डिजिटल अरेस्ट का एक और सनसनीखेज मामला सामने आया है। साइबर अपराधियों ने इस बार रिटायर बैंक मैनेजर और उनकी पत्नी, जो रिटायर्ड प्रिंसिपल है, को 538 करोड़ के घोटाले में लिप्त होने आरोप लगाकर घर में कैद कर लिया। आरोपितों ने तीन दिन वीडियो कॉल पर पूछताछ भी की। इसी बीच दंपति ने डिजिटल अरेस्ट की खबर पढ़ ली और तुरंत पुलिस से संपर्क किया। घटना एरोड्रम थाना क्षेत्र अंतर्गत (छोटा बांगड़दा) की है।
दंपति ने पुलिस को बताया कुछ दिनों से अनजान नंबरों से कॉल आ रहे थे। आरोपितों ने शुरुआत में स्वयं को सीबीआइ अफसर बताया और उनके बैंक खातों, आधार कार्डों की जानकारी देकर पूछताछ की। दंपति ने उनकी बातों को पहले तो गंभीरता से नहीं लिया। तीन दिन पूर्व सीबीआइ द्वारा छापा मारने की धमकी मिली तो दंपति घबरा गए और ठग के इशारे पर काम करने लगे। ठग ने कहा कि आपके आधार कार्ड से मुंबई में खाता खोला गया। उसमें जेट एयरवेज के संचालक नरेश गोयल द्वारा किए 538 करोड़ रुपये के घोटाले का रुपया जमा हुआ है। इस संबंध में पूछताछ करने के लिए दंपति को हाउस अरेस्ट कर लिया।
उन्हें वीडियो कॉल पर ले लिया और सीबीआइ-ईडी अफसर बनकर पूछताछ की जाने लगी। उन्हें बाकायदा कोर्ट रूम बताया गया और कहा कि उन्हें पेश किया जाएगा। अखबार में न्यूज पढ़ कर समझ गए ठगों की करतूत एसपी (साइबर) सव्यसाची सराफ के अनुसार पुलिस ने रिटायर्ड मेडिकल अफसर के साथ हुई चार करोड़ 32 लाख की ठगी में तीन आरोपितों को पकड़ा था। शनिवार को ही इसकी न्यूज अखबारों में प्रकाशित हुई है। दंपति ने जैसे ही अखबार पढ़ा तुरंत ठगों की चाल समझ गए। उसमें भी जेट एयरवेज घोटाले में फंसाने की धमकी देकर रुपए लिए थे।
दंपति ने साइबर सेल में कॉल लगाकर मदद मांगी। निरीक्षक सरिता सिंह और एसआइ आशीष जैन मौके पर पहुंच गए। उनके सामने ही ठग दंपति को वीडियो कॉल पर धमका रहे थे। निरीक्षक के पूछताछ करने पर अभद्रता करने लगे। वर्दी में देखा तो डर कर फोन काट दिया।
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साइबर सेल एमजीएम से रिटायर्ड मेडिकल अफसर के साथ हुई 4 करोड़ 32 लाख की ठगी में आगे की लिंक खंगाल रही है। सेल ने इस मामले में गिरफ्तार तीन आरोपित सादिक पटेल, शाहिद खान औ सोहेल खान को जेल भेज दिया है। आरोपितों के खातों में रुपये जमा किए थे। जांच के दौरान पता चला आरोपितों ने गुजरात, तेलांगाना और यूपी के खातों में रुपये ट्रांसफर करवाए है। ठग द्वारा विदेशी (कंबोडिया) के आइपी का उपयोग कर ठगा था। इससे शक है ठगी की राशि अन्य खातों में ट्रांसफर होते हुए विदेश भेजी है।