
नवदुनिया प्रतिनिधि, सागर: दक्षिण वन मंडल क्षेत्र के ढाना परिक्षेत्र के ग्राम हिलगन और खांड़ के बीच झाड़ियों में नर बाघ का करीब पांच-छह दिन पुराना शव मिला है। सूचना के बाद मौके पर रविवार शाम को वन अधिकारी पहुंचे, लेकिन अंधेरा होने के कारण घटना स्थल व शव की जांच पूरी नहीं हो पाई है।
प्रारंभिक जांच में बाघ की मौत करंट से होना प्रतीत हो रही है, क्योंकि बाघ के शरीर में न तो कोई चोट के निशान हैं और न ही उसके अंग गायब हैं। फिलहाल सोमवार को शव का पीएम कराया जाएगा। जिसके बाद मौत की स्थिति स्पष्ट हो पाएगी। फिलहाल बाघ का शव मिलने के बाद वन विभाग में हड़कंप मच गया है।
जानकारी के अनुसार हिलगन से खांड़ की ओर रविवार को दोपहर करीब 12 बजे लकड़ी बीनने गई महिलाओं ने झाड़ियों में बाघ को देखा, जिसके बाद वह भयभीत होकर गांव पहुंची और बाघ की सूचना दी। ग्रामीणों ने वन अमले को इसकी जानकारी दी, जिसके बाद शाम चार बजे डीएफओ वरुण यादव सहित वन अमला मौके पर पहुंचा।
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मृत नर बाघ की आयु पांच से छह वर्ष की बताई जा रही है। राजस्व क्षेत्र में मिले बाघ के शव की जांच करने वीरांगना रानी दुर्गावती टाइगर रिजर्व से खोजी श्वान सहित फारेंसिक एक्सपर्ट की टीम मौके पर पहुंची, लेकिन अंधेरा हो जाने के कारण शव व घटना स्थल की जांच नहीं हो पाई। वन विभाग ने बाघ के शव को वहीं सुरक्षित कर दिया है। सोमवार को शव का पीएम होगा, जिसके बाद उसके मौत की सही जानकारी लग पाएगी।
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वन विभाग के सूत्रों की मानें तो बाघ की मौत कहीं और हुई है, उसके शव को यहां पर लाकर फेंका गया है। शव से बदबू आ रही है, जिससे अनुमान लगाया जा रहा है कि उसकी मौत पांच-छह दिन पहले हुई है। वीरांगना रानी दुर्गावती टाइगर रिजर्व (नौरादेही) में वर्तमान में 20 से अधिक बाघ व शावक मौजूद हैं।