Yellow Nail Syndrome: पीले नाखून हैं तो रहें अलर्ट, इन गंभीर बीमारियों का हो सकता है संकेत
Yellow Nail Syndrome इस बीमारी का अभी तक कोई स्थाई इलाज नहीं मिला है। हालांकि प्लूरल इफ्यूजन को ट्रीट करने के लिए सर्जरी भी इलाज
By Sandeep Chourey
Edited By: Sandeep Chourey
Publish Date: Tue, 30 May 2023 10:11:22 AM (IST)
Updated Date: Tue, 30 May 2023 03:07:44 PM (IST)

Yellow Nail Syndrome । येलो नेल सिंड्रोम (YNS) एक शारीरिक विकार है, जिसमें नाखूनों का रंग पीला पड़ने लगता है। नाखून धीरे-धीरे अपनी चमक खोने लगते हैं। हालांकि येलो नेल्स सिंड्रोम बीमारी बहुत ही कम लोगों में देखने को मिलती है। Yellow Nail Syndrome होने पर मरीज को पलमोनरी और लिम्फेटिक सिस्टम की तकलीफ देखने को मिलती है। यह बीमारी किसी भी उम्र के व्यक्ति को हो सकती है, लेकिन ज्यादातर 50 से अधिक उम्र के लोगों में यह बीमारी ज्यादा देखने को मिलती है।
ऐसे लोगों में दिखते हैं लक्षण
Yellow Nail Syndrome के लक्षण आमतौर पर लंग कैंसर, ब्रेस्ट कैंसर या लिंफोमा की समस्या होने पर मरीजों में देखने को मिलते हैं। Yellow Nail Syndrome की समस्या FOXP2 जीन में बदलाव या म्यूटेशन के कारण भी हो सकती है। ऐसे में मरीज को पैरों में
सूजन हो जाती है। Yellow Nail Syndrome होने पर मरीज को लगातार खांसी आना, सांस में तकलीफ होने के साथ रेस्पिरेटरी इन्फेक्शन भी हो सकता है।
Yellow Nail Syndrome की गंभीरता
Yellow Nail Syndrome का इलाज 3 लक्षणों के आधार पर किया जाता है। ये तीन लक्षण हैं - नाखूनों का पीला होना, लंग प्रॉब्लम जैसे खांसी या ब्रोन्किइक्टेसिस होना और लोअर लिंब में सूजन होना। इन 3 प्रमुख लक्षणों के आधार पर हेल्थ एक्सपर्ट सबसे पहले यह जांच करते है कि मरीज के फेफड़े सही तरह से काम कर रहे हैं या नहीं। साथ ही पैरों में सूजन की चेक करते हैं। Yellow Nail
Syndrome होने पर मरीज के फेफड़े सबसे अधिक प्रभावित होते हैं। ब्रोन्किइक्टेसिस म्यूकस बना कर लंग से सांस लेने में दिक्कत पैदा करने लगता है, जिससे निमोनिया जैसी बीमारी हो सकती है। अगर म्यूकस लंग के मेम्ब्रेन को ढक लेता है तो मरीज की हालत गंभीर हो सकती है।
Yellow Nail Syndrome का इलाज क्या है
इस बीमारी का अभी तक कोई स्थाई इलाज नहीं मिला है। हालांकि प्लूरल इफ्यूजन को ट्रीट करने के लिए सर्जरी भी इलाज किया जाता है। इसके अलावा लंग्स इंफेक्शन और ब्रोन्किइक्टेसिस को ट्रीट करने के लिए एंटीबायोटिक देकर भी इलाज किया जाता है। साथ ही शरीर में ब्लड सर्कुलेशन और सूजन को ठीक करने से लिए कुछ एक्सरसाइज या फिजियोथेरेपी भी कराई जाती है।
डिस्क्लेमर
स्टोरी के टिप्स और सुझाव सामान्य जानकारी के लिए हैं। इन्हें किसी डॉक्टर या मेडिकल प्रोफेशनल की सलाह के तौर पर नहीं लें। बीमारी या संक्रमण के लक्षणों की स्थिति में डॉक्टर की सलाह जरूर लें।