डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई केंद्रीय कैबिनेट बैठक में देश के रेल यात्रियों (Indian Railway Festivals Special Trains) के लिए बड़ी राहत का एलान किया गया। सरकार ने आगामी दीवाली और छठ पर्व (Diwali Chhath Puja) के दौरान यात्रियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए 12,000 विशेष ट्रेनें चलाने का निर्णय लिया है। इसके साथ ही चार नई रेलवे परियोजनाओं को भी मंजूरी दी गई है, जिससे रेलवे ढांचे के आधुनिकीकरण और विस्तार को नई गति मिलेगी।
हर साल दीपावली और छठ जैसे बड़े त्योहारों पर यात्रियों की भीड़ के कारण टिकटों की भारी किल्लत रहती है। इसे देखते हुए रेल मंत्रालय ने इस बार रिकॉर्ड संख्या में 12,000 ट्रेनें चलाने की योजना तैयार की है। ये ट्रेनें देश के प्रमुख मार्गों पर अतिरिक्त डिब्बों के साथ चलाई जाएंगी, ताकि यात्रियों को बिना किसी परेशानी के अपने गंतव्य तक पहुंचाया जा सके।
केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव (Ashwini Vaishnaw) ने बताया कि रेलवे नेटवर्क को और मजबूत करने के लिए यह ऐतिहासिक निर्णय लिया गया है। इससे त्योहारों के दौरान ट्रेनों में भीड़ कम होगी और आम लोगों को बेहतर यात्रा अनुभव मिलेगा।
Delhi Union Minister Ashwini Vaishnaw says, "4 major projects of railways have been approved today... We have 7 corridors that carry 41% of the railway traffic... These 7 corridors carry 41% cargo and 41% passengers. There are many upcoming projects which will strengthen these… pic.twitter.com/RqkPTsX0GQ
— ANI (@ANI) October 7, 2025
कैबिनेट बैठक में चार नई रेलवे परियोजनाओं को मंजूरी दी गई है। ये परियोजनाएं अगले 3 से 5 साल में पूरी होंगी। मंत्री अश्विनी वैष्णव के अनुसार, भारत के सात प्रमुख रेलवे कॉरिडोर कुल रेल यातायात का 41% हिस्सा वहन करते हैं। इन कॉरिडोर को मजबूत करने के लिए अब न्यूनतम चार लेन और जहां संभव हो, छह लेन तक के विस्तार की योजना बनाई गई है। उन्होंने कहा कि इन परियोजनाओं से रेलवे का माल ढुलाई नेटवर्क और अधिक सक्षम बनेगा। इससे लॉजिस्टिक कॉस्ट में भी उल्लेखनीय कमी आएगी, जिससे देश की अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।
अश्विनी वैष्णव ने कैबिनेट ब्रीफिंग में बताया कि भारत अब दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा माल ढुलाई देश बन गया है। उन्होंने कहा, “10 साल पहले हम जहां थे, अब उससे कहीं आगे निकल चुके हैं। हमने अमेरिका को भी पीछे छोड़ दिया है। यह हमारी रेलवे नीतियों और निरंतर निवेश का परिणाम है।”
केंद्रीय मंत्री ने यह भी कहा कि रेलवे न केवल सस्ती यात्रा का साधन है, बल्कि यह पर्यावरण के अनुकूल परिवहन प्रणाली भी है। उन्होंने बताया कि रेलमार्गों के विस्तार से कार्बन उत्सर्जन में कमी आएगी और देश की आर्थिक प्रगति में तेजी होगी। सरकार का उद्देश्य है कि भविष्य में भारत का रेलवे नेटवर्क पूरी तरह से आधुनिक, सुरक्षित और पर्यावरण-संवेदनशील बने।
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रेलवे मंत्रालय के अनुसार, नई परियोजनाएं न केवल यात्री सुविधा बढ़ाएंगी बल्कि रोजगार के नए अवसर भी सृजित करेंगी। सरकार चाहती है कि भारत का रेल ढांचा दुनिया के सबसे उन्नत नेटवर्क में शामिल हो। त्योहारी सीजन में 12,000 ट्रेनों का संचालन इस दिशा में एक बड़ा कदम है, जिससे देशभर के यात्रियों को न केवल सुविधा मिलेगी बल्कि यात्रा अनुभव भी और अधिक सहज बनेगा।