
डिजिटल डेस्क। लखनऊ के चौधरी चरण सिंह अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के नए टर्मिनल-3 की छत तेज बारिश में टपकने लगी। शुक्रवार को हुई भारी बारिश के दौरान बोर्डिंग हॉल सहित कई स्थानों से पानी तेजी से रिसने लगा। कर्मचारियों ने तुरंत प्लास्टिक के टब लगाकर पानी को फर्श पर फैलने से रोका, ताकि यात्री फिसलकर घायल न हों। यह टर्मिनल पिछले वर्ष ही 2400 करोड़ रुपये की लागत से तैयार हुआ था। पहले भी बारिश में पानी टपकने की समस्या आई थी, जिसे प्रबंधन ने मामूली गड़बड़ी बताकर ठीक करने का दावा किया था।
कन्वेयर बेल्ट की खराबी ने यात्रियों की परेशानी बढ़ा दी। गुरुवार-शुक्रवार की रात पावर सप्लाई ठप हो जाने से बेल्ट रुक गई। उसी समय दो फ्लाइटें उतर चुकी थीं, जिससे यात्रियों को लगेज के लिए लंबा इंतजार करना पड़ा। यात्री मधुकर पांडेय के सोशल मीडिया पोस्ट पर एयरपोर्ट प्रशासन ने एक घंटे बाद जानकारी दी कि पावर सप्लाई बहाल कर दी गई है।
सुरक्षा कारणों से 20 अगस्त तक विजिटर पास पर रोक लगा दी गई है। पहले 100 रुपये का पास लेकर यात्री अपने परिजनों को टर्मिनल के भीतर ला सकते थे। अब यह सुविधा उपलब्ध नहीं होगी। निर्देश के अनुसार, टर्मिनल, पार्किंग और अन्य संवेदनशील क्षेत्रों में निगरानी बढ़ाई जाएगी और सभी सीसीटीवी कैमरे 24 घंटे सक्रिय रहेंगे।
एयरपोर्ट जाने वाले यात्रियों को अतिरिक्त समय लेकर निकलने की सलाह दी गई है। टर्मिनल से पहले रैंडम चेकिंग नाका पर वाहनों की तलाशी ली जा रही है। साथ ही, सेकंड लैडर प्वाइंट जांच भी शुरू कर दी गई है, जिसमें विमान में चढ़ने से पहले यात्रियों और उनके सामान की दोबारा सुरक्षा जांच होती है। यह कदम सुरक्षा अलर्ट की स्थिति में अपनाया जाता है।
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