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चुनाव तारीख: 12 मई 2019
पूर्वी उत्तर प्रदेश में सई नदी के बीच प्रतापगढ़ संसदीय क्षेत्र की पहचान आंवला, प्रो.वासुदेव सिंह, मुनीश्वरदत्त उपाध्याय, राजा दिनेश सिंह, प्रमोद तिवारी, रघुराज प्रताप सिंह से होती है। यहां 1977 में भारतीय लोकदल से रूपनाथ सिंह यादव, 1991 में जनता दल से राजा अभय प्रताप सिंह, 1998 में भाजपा से डा.राम विलास वेदांती, 2004 में सपा से अक्षय प्रताप सिंह, 2014 में अपना दल के हरिवंश सिंह को छोड़कर कांग्रेस का कब्जा रहा। 2019 इस सीट से भाजपा के उम्मीदवार संगम लाल गुप्ता चुने गए। उद्योगविहीन जिले में कृषि ही मुख्य साधन है। एटीएल ट्रैक्टर कारखाना बंद हो चुका है। विधानसभा क्षेत्र और स्थानीय मुद्दे इस संसदीय क्षेत्र में कुल 7 विधानसभाएं हैं। रामपुर खास, विश्वनाथगंज, प्रतापगढ़ सदर, पट्टी, रानीगंज शामिल है। 2011 की जनगणना के अनुसार साक्षरता दर 73.1 है। आंवला किसानों की बदहाली, बेकाबू अपराध, उद्योग धंधों का अभाव हर चुनाव में मुद्दा बनता है। प्रतापगढ़ की खास बातें प्रतापगढ़ लोकसभा से पहले सांसद मुनीश्वर दत्त उपाध्याय बने थे। वहीं वर्तमान में यहां से सांसद कुंवर हरिवंश सिंह, अपना दल से हैं। स्वामी करपात्री, जगदगुरु कृपालू महाराज यहीं से हैं। प्रतापगढ़ लोकसभा के अंतर्गत रानीगंज, रामपुर खास, विश्वनाथ गंज, पट्टी और खुद प्रतापगढ़ क्षेत्र आते हैं। प्रतापगढ़ पहले इलाहाबाद का हिस्सा हुआ करता था। यहां बेलादेवी का मंदिर, भक्तिधाम, घूमेश्वर नाथ धाम, शनिदेव मंदिर काफी प्रसिद्ध हैं।