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चुनाव तारीख: 12 मई 2019
उत्तर बिहार में सिवान संसदीय क्षेत्र की पहचान देश के पहले राष्ट्रपति देशरत्न डॉ. राजेंद्र प्रसाद के नाम से होती है, लेकिन समय के साथ इस जिले की पहचान बदल गई। इंटनेशनल चोर नटरवल लाल इसी जिले का था। बाद में शहाबुद्दीन के आतंक से यह जिला हमेशा सुर्खियों में बना रहा। 1995 में जनसंघ के उम्मीदवार पंडित जर्नादन तिवारी को हराकर मो. शहाबुद्दीन राजद से पहली बार सांसद बने। वे लगातार तीन बार सांसद रहे। कानूनी शिकंजा कसने के बाद कोर्ट ने शहाबुद्दीन के चुनाव लड़ने पर रोक लगा दी। 2009 में ओमप्रकाश यादव ने निर्दलीय चुनाव लड़कर शहाबुद्दीन की पत्नी हिना शहाब को हराकर भाजपा का दामन थाम लिया। इसके बाद 2014 में मोदी लहर में ओमप्रकाश फिर हिना शहाब को हराकर सांसद बने। इसके बाद 2019 में यहां से जदयू की कविता सिंह सांसद बनीं। आठ विधानसभा क्षेत्र हैं। ये हैं- दरौली, जीरादेई, रघुनाथपुर, दरौंदा, महाराजगंज, गोरियाकोठी, बड़रिया और सिवान। डेमोग्राफी जिले के कुल मतदाता : 2399242 महिला मतदाता : 1145908 पुरुष मतदाता : 1253334 थर्ड जेंडर : 83 नए मतदाता : 46833 पांच साल की बड़ी घटनाएं - 16 जून 2014 की रात तेजाब कांड के चश्मदीद राजीव रोशन की गोली मारकर हत्या। - 23 नवंबर 2014 की रात सांसद ओमप्रकाश यादव के प्रवक्ता श्रीकांत भारतीय की गोली मारकर हत्या। - 13 मई 2016 को हिंदुस्तान के पत्रकार राजदेव रंजन की गोली मारकर हत्या विकास का हाल मेडिकल कॉलेज खोले जाने की घोषणा की गई है। - सड़क और बिजली की व्यवस्था पहले से बेहतर हुई है। स्थानीय मुद्दे यहां बेरोजगारी और अपराध पर लगाम लगाना बड़े मुद्दे हैं। जिले में एक सूता मिल और तीन चीनी मिलें थी, जो बंद हैं। अधिकतर युवा रोजगार के लिए खाड़ी देश जाते हैं। सिवान की खास बातें सिवान बिहार की महत्वपूर्ण संसदीय सीट है। यह 1957 में अस्तित्व में आई। देश के लिए दूसरे लोकसभा निर्वाचन के दौरान यहां के लोगों ने सांसद चुनाव के लिए पहली बार मतदान किया। यह बिहार के उत्तर पश्चिमी छोर पर बसा है। दाहा नदी के किनारे बसे इस इलाके की सीमाएं उत्तर प्रदेश से जुड़ती हैं। भारत के प्रथम राष्ट्रपति डॉ॰ राजेन्द्र प्रसाद समेत कई अग्रणी स्वतंत्रता सेनानियों की जन्मभूमि एवं कर्मस्थली के लिए सीवान को जाना जाता है। इसका नामाकरण मध्यकाल में यहां के राजा शिवमान के नाम पर हुआ है। यहां पर स्थित महेंद्रनाथ का मंदिर धार्मिक रूप से बेहद महत्व रखता है। यहां गन्ना मिल्स, प्लास्टिक फैक्ट्री, सूत फैक्ट्रियां बड़ी संख्या में हैं।